मेहनती किसान
एक किसान का दर्द....... दिल बहुत कर रहा खुल
कर रोने को। आज कुछ नहीं बचा मेरे पास खोने
को। . मेरी सारी मेहनत ख़ाक में मिल गयी,
दिल नहीं करता आगे से फसल बोने को। . बहुत आस
थी गेहूँ की फसल से मुझको, पर क्या पता था
भगवान तैयार हैं डुबोने को। . बेटी की शादी,
बेटों की पढ़ाई कैसे होगी अब, परिवार मजबूर
हो जायेगा खाली पेट सोने को। . पलंग,
चारपाई पर आराम करना कहाँ नसीब में, धरती
की गोद में सोना है बिछा गमों के बिछौने
को। . मेरे जीवन में अभावों का आलम तो देखिये
आप, आँखों से आँसू भी नहीं निकलते पलकें भिगोने
को। . सदियों से ये ही रीत चलती आ रही है
यहाँ, हर किसान जन्म लेता है कर्ज का बोझ
ढ़ोने को।
जय जवान जय किसान
कर रोने को। आज कुछ नहीं बचा मेरे पास खोने
को। . मेरी सारी मेहनत ख़ाक में मिल गयी,
दिल नहीं करता आगे से फसल बोने को। . बहुत आस
थी गेहूँ की फसल से मुझको, पर क्या पता था
भगवान तैयार हैं डुबोने को। . बेटी की शादी,
बेटों की पढ़ाई कैसे होगी अब, परिवार मजबूर
हो जायेगा खाली पेट सोने को। . पलंग,
चारपाई पर आराम करना कहाँ नसीब में, धरती
की गोद में सोना है बिछा गमों के बिछौने
को। . मेरे जीवन में अभावों का आलम तो देखिये
आप, आँखों से आँसू भी नहीं निकलते पलकें भिगोने
को। . सदियों से ये ही रीत चलती आ रही है
यहाँ, हर किसान जन्म लेता है कर्ज का बोझ
ढ़ोने को।
जय जवान जय किसान
Super
जवाब देंहटाएंDhanyawad
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