घड़ियाली आंसू
घड़ियाली आंसू
गांव का किसान अपने पड़ोसी से खेत की मेढ़ काटने का मुकदमा लड़ते-लड़ते जवानी खोकर बुढ़ापे की दहलीज में कब प्रवेश कर जाता है उसे खुद ही मालूम नहीं पड़ता. खाद-बीज और सिंचाई के मकड़जाल में किसान की जिंदगी इस कदर उलझी होती है कि उसकी बेटी सयानी होकर ब्याह करने लायक हो गयी, इस बात का भान उसे आस-पड़ोस वालों के ताने सुन कर ही होता है.
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